सोमवार, 1 अगस्त 2011
छोटे पर्दे का उभरता कलाकार है सौरभ प्रजापति
सौरभ प्रजापति का जुनून ही उसे छोटे पर्दे तक ले गया।इसी जुनून के बल पर उसे षुरूआती दौर में आंषिक कामयाबी भी मिली। उसने टी0वी0 और सिनेमा से प्रभावित होकर जब अभिनय को ही अपना कैरियर चुनने का फैसला किया तो षायद ही किसी को उसके मुम्बई में टिक पाने की उम्मीद की होगी। लेकिन उसकी कुछ कर गुजरने की जिद ने उसे मंजिल तक पहंुचाया। मुम्बई की माया नगरी में कोई पहुंच न होने और धरेलु आर्थिक तंगी के बावजूद सौरभ माया नगरी में छोटे पर्दे पर काम पाने में कामयाब हो गया।
12 वीं तक पढाई करने के बाद एक दिन फिल्मी दुनिया के लिए परिजनों से झगडकर सौरभ प्रजापति रूडकी से मुम्बई जाने वाली रेल में बैठ गया। 28 धन्टे के लम्बे सफर के बाद अनजान षहर मुम्बई पंहुचे सौरभ को रहने लिए व खाने के लिए तो संधर्श करना ही पडा,वही काम पाने के लिए भी एडिया रगडनी पडी। एक दिन सागर आर्टस में बनाए जा रहे एक धारावाहिक में काम पाने के लिए आडिषन की कतार में खडे हुए सौरभ ने तीन प्ृाश्ठों के डायलाग जो एक धन्टे में याद किये जाने थे,उन्हे मात्र 10 मिनट में याद कर लिए तो फिल्म यूनिट के लोग भी दंग रह गए। षानदार आडिषन देने पर सौरभ को धारावाहिक चन्द्रगुप्त में षिश्य की भूमिका के लिए चयनित कर लिया गया।
फिलहाल प्राईवेट तौर पर बीए कर रहे सौरभ को स्वर्गीय रामानन्द सागर की फिल्म कम्पनी सागर आर्टस ने कई धारावाहिकों में ब्रेक दिये। धारावाहिक चन्द्रगुप्त में सौरभ प्रजापति जंहा राजा चन्द्रगुप्त की बाल भूमिका निभा रहे बाल कलाकार ऋशिराज के साथ गुरू आश्रम में षिश्य बना हुआ है। सौरभ इमेजिन टीवी पर आ रहे धारावाहिक षनिदेव में बाराती की भूमिका निभा रहा है। जबकि स्वामी नारायण में उसे मुक्तिजीवन स्वामी बप्पा की भूमिका मिली है। इसी तरह धारावाहिक जयबंजरंगबली में सौरभ वानर सेना का सेनापति बना है। सौरभ का चयन यूटीवी के रियलिटी षो प्यार किया तो डरना क्या के लिए भी हो गया था। परन्तु निर्माता द्वारा गर्लफ्रेंड ढूढकर लाने की जिद के चलते उन्हे यह अवसर खोना पडा।
अपने जीवन के 23 वें साल में चल रहा सौरभ चाहता है कि एक बार उसे किसी बडी फिल्म में काम करने का अवसर मिले तो वह अपनी काबलियत साबित कर देगा। धारावाहिकों के माध्यम से अभिनेता तेज सप्रू , सुरज थापडे तथा बरौनी के राथ अभिनय की बारीकियां सीखने में लगे सौरभ प्रजापति के होंसले को देखकर लगता है कि वह एक दिन बडे पर्दे का चर्चित अभिनेता होने का मुकाम पा सकता है। जिसके लिए उसे षुभकामनाए मिलनी ही चाहिए।
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